जयपुर। सौंखिया परिवार की ओर से चौड़ा रास्ता स्थित सौखिया भवन में चल रहे श्रीमद भागवत सप्ताह ज्ञानयज्ञ में गुरूवार को कथा प्रसंग के तहत भगवान श्रीकृष्ण का जन्मोत्सव नंदोत्सव के रूप में मनाया गया।
इस अवसर पर श्रद्धालुओं ने नंद के आनंद भयो…यशोदा जायो ललना…नंद घर छाई खुशियां अपार….जैसे भजनों के बीच आयोजक रामदास सौखिया व उनके परिजनों ने खिलौने फल व मेवे की जमकर उछाल लुटाई। इस दौरान कार्यक्रम स्थल पर बैठा श्रद्धालुओं का समूह भजनों की मधुर स्वर लहरियों के बीच नंदोत्सव की खुशियां मनाता नजर आया।
इस अवसर पर व्यास पीठ से मौके पर कथा मर्मज्ञ आशीष शास्त्री ने कहा कि द्वापर में कंस के अत्याचार को समाप्त करने के लिए प्रभु धरती पर आए। उन्होंने गोकुल वासियों के जीवन को उत्सव बना दिया। विषम परिस्थितियों में भी जब व्यक्ति अचानक ही सुख की अनुभूति करने लगे तो वे क्षण उसके लिए परम आनंद के कारण होते है। जीवन में परम आनंद की अनुभूति भगवान के मिलने के कारण ही होती है। इससे पूर्व राम चरित्र प्रसंग पर बोलते हुए कहा कि राम का जीवन ही मनुष्य मात्र को मानवता का संदेश देता है , पारिवारिक विसंगतियों में राम ने मानवीय संवेदनाओं दिग्दर्शन अपने आदर्श चरित्र से आमजन को करवाया। बलि वामन चरित्र पर बोलते हुए कहा कि मांगना व्यक्ति को छोटा बनाता है, किंतु किसी के सुख के लिये मांगना उस व्यक्ति6 को महान बना देता हैं यही बलि – वामन कथा का रहस्य है। आयोजक रामदास सौंखिया ने बताया कि शुक्रवार को श्रीगिरिराज धरण लीला 56 भोग की झांकी सजाई जाएगी। कथा का समय 1 जनवरी तक रोजाना दोपहर 1 बजे से साम 6 बजे तक रहेगा।
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